चंडीगढ़ ,26 मार्च 'रंगला पंजाब', 'तंदुरुस्त पंजाब', 'हसदा-वसदा पंजाब' का नारा देने वाली भगवंत सिंह मान के नेतृत्व वाली आम आदमी पार्टी की पंजाब सरकार के पास स्वास्थ्य, शिक्षा, रोजगार, उद्योग के साथ-साथ ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों के विकास के लिए रखे गए फंड में अनुसूचित जाति के परिवारों के कल्याण के लिए कोई सार्थक योजना नहीं है और आज एक तिहाई आबादी अपने अधिकारों से वंचित नजर आ रही है, यह चिंता व खुलासा भारतीय जनता पार्टी अनुसूचित जाति मोर्चा के प्रदेश उपाध्यक्ष परमजीत सिंह कैंथ ने जारी बयान में किया है । उन्होंने कहा कि आज पंजाब के वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने पंजाब विधानसभा में बजट पेश करते हुए वित्त वर्ष 2026-26 में अनुसूचित जाति उप-योजना में दलित वर्गों के विकास के लिए 13,937 करोड़ रुपये अनुसूचित जाति उप-योजना के लिए आरक्षित किए हैं। लेकिन पिछले तीन वर्षों के दौरान खर्च की गई धनराशि का विश्लेषण और विवरण उपलब्ध कराया जाना चाहिए। पहले भी सरकारें योजनाओं का जिक्र सिर्फ कागजों पर ही करती रही हैं। इसी तरह, आम आदमी पार्टी सरकार भी यही कदम उठा रही है। वित्त मंत्री ने विधानसभा में घोषणा की कि अनुसूचित जातियों द्वारा पंजाब अनुसूचित जाति भूमि विकास एवं वित्त निगम से वर्ष 2020 तक लिए गए सभी ऋण माफ कर दिए गए हैं। यह घोषणा पिछली सरकारों ने भी की थी। तीन साल बाद भी आम आदमी पार्टी की सरकार ने आज विधानसभा में ऐसा बयान दिया है। सरदार कैंथ ने भगवंत सिंह मान के नेतृत्व वाली आम आदमी पार्टी सरकार से मांग की कि पंजाब सरकार अनुसूचित जाति के परिवारों, जो राज्य की एक तिहाई से अधिक आबादी है, से किए गए वादों और वर्ष 2022-23, 2023-2024 और 2024-25 में कल्याण योजनाओं पर खर्च की गई धनराशि पर सार्वजनिक रूप से श्वेत पत्र जारी करने की पहल करे।

प्रमुख अनुसूचित जाति नेता परमजीत सिंह कैंथ ने कहा कि यह आश्चर्य की बात है कि आज तक किसी भी सरकार ने अनुसूचित जाति उपयोजना को सैद्धांतिक रूप से लागू नहीं किया, लेकिन हर साल विधानसभा में अनुसूचित जाति समुदाय को अपने सपने पूरे करने का जरिया बताने वाला दस्तावेज पेश किया जाता है। सही मायनों में अनुसूचित जाति समुदाय की भावनाओं के साथ विश्वासघात किया जा रहा है। यदि इस पर अमल होता तो अनुसूचित जाति वर्ग की जनसंख्या के हिसाब से बजट रुपए में खर्च किया जाता, लेकिन ऐसा नहीं किया जाता। आम आदमी पार्टी सरकार पंजाब में केवल केंद्र की नरेंद्र मोदी नीत एनडीए सरकार की आकर्षक वेल्फेयर योजनाओं को ही लागू करने का प्रयास कर रही है, जबकि अपने चुनावी वादों को पूरा करने के लिए कदम उठाने में विफल रही है। राजनीतिक पैंतरेबाजी का नारा था एससी वर्ग से उपमुख्यमंत्री बनाने की घोषणा और चुनाव लड़ते समय किया गया वादा अभी तक पूरा नहीं हुआ। आम आदमी पार्टी के चुनाव घोषणापत्र में सरकारी नौकरियों में अनुसूचित जातियों के बैकलॉग को भरने के जो वादे किए गए थे, भगवंत सिंह मान के नेतृत्व वाली आम आदमी पार्टी पंजाब सरकार द्वारा पिछले तीन वर्षों से किए जा रहे दावे खोखले साबित हो रहे हैं।